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‘मेरा नाम बदल देना अगर मैं मोदी और योगी का सिर न लाया’: खुलेआम धमकी देने वाला सलमान गिरफ्तार



प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ख़िलाफ़ आपत्तिजनक भाषण देने वाले शख्स को बागपत पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। बागपत में राष्ट्रीय लोकदल महापंचायत के दौरान गुरुवार को इस व्यक्ति ने घोषणा की थी कि वह पीएम मोदी और सीएम योगी आदित्यनाथ का सिर कलम कर देगा।


इसके बाद उसकी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होनी शुरू हुई और बागपत पुलिस के संज्ञान में आने के बाद आरोपित युवक को गिरफ्तार कर लिया गया। युवक की पहचान बड़ौत निवासी सलमान के रूप में हुई है। उसके ख़िलाफ़ थाने में आईपीसी की धारा 153A/124A/504 506 के तहत मामला दर्ज हुआ है।


वीडियो में हम देख सकते हैं कि युवक भीड़ को संबोधित करते हुए कह रहा है, “एक हो जाओ भाइयों। मेरा नाम बदल देना अगर मैं मोदी और योगी का सिर न ले आया।” युवक का यह बयान सुनकर भीड़ भी तालियाँ बजाती है।


जानकारी के अनुसार, यह महापंचायत आरएलडी के जयंत चौधरी पर हाथरस में हुई लाठीचार्ज के बाद की गई थी। इस घटना के ख़िलाफ़ मेरठ, मुजफ्फरनगर, बागपत, बुलंदशहर, अलीगढ़ और बिजनौर में प्रदर्शन हुए थे। आरएलडी सदस्यों ने इस बाबत मथुरा के पास नौहिल बाजना-अलीगढ़ रोड पर ट्रैफिक भी बाधित किया था। साथ ही उन्होंने पीएम मोदी और सीएम योगी के पुतले भी फूँके थे।


आज सीएम योगी आदित्यनाथ के मीडिया सलाहकार ने सलमान की इस वीडियो को शेयर किया और बागपत पुलिस को टैग करते हुए लिखा, “यह बागपत का वीडियो है जहाँ यह आदमी खुलेआम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के सर काटने की बातें कर रहा है। आपकी नज़रों में यह प्रदर्शन हो सकता है। मेरी नज़र में यह गुंडागर्दी और नफ़रत फैलाने का बहाना है। यूपी पुलिस इस पर संज्ञान ले एवं तुरंत कार्यवाही करे।”


इसके बाद एसपी बागपत अभिषेक सिंह ने मामले का त्वरित संज्ञान लिया और सख्ती दिखाते हुए आरोपित को गिरफ्तार करने के निर्देश दिए। थोड़ी देर में बागपत पुलिस के ट्विटर से जानकारी दी गई कि राष्ट्रीय लोकदल की सभा में प्रधानमंत्री और यूपी के मुख्यमंत्री पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाला आरोपित गिरफ्तार हो गया है। अब आगे की कानूनी कार्रवाई भी विधिवत की जाएगी।


यहाँ बता दें कि पिछले कुछ समय से हाथरस मामले को लगातार जातिगत एंगल देकर राज्य में शांति-व्यवस्था बिगाड़ने का प्रयास किया जा रहा है। रिपोर्ट्स के अनुसार, अब तक कई मामले सामने आ गए है जहाँ इस इस केस को आधार बनाकर सांप्रदायिकता और जातीय हिंसा फैलाने का प्रयास हुआ। अब तक पुलिस ने इस मामले में 21 मुकदमे दर्ज किए हैं।

उल्लेखनीय है कि 29 सितंबर 2020 को 19 वर्षीय हाथरस पीड़िता ने दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में दम तोड़ा था। मृतका के साथ कथित तौर पर दुष्कर्म होने के आरोप लगाए गए थे, लेकिन फोरेंसिक रिपोर्ट में इसकी पुष्टि नहीं हुई। सीएम योगी ने जाँच के लिए एसआईटी टीम का गठन किया था। सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई में योगी सरकार ने सीबीआई जाँच का भी समर्थन किया। वहीं, आरोपित पक्ष लगातार खुद को बेगुनाह बता रहा है। उनका कहना है कि वो नार्को टेस्ट के लिए भी तैयार हैं।